कोरोना के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन को लेकर पूरी दुनिया चिंतित है।केंद्र सरकार के साथ साथ बिहार सरकार ने भी नई गाइडलाइंस जारी की है । ताकि कोरोना तीसरी लहर को रोका जा सके । वहीं, करीब दो महीने बाद नालंदा में कोरोना का नया मरीज मिला है । जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग की टीम अलर्ट पर है ।
ओमिक्रॉन को लेकर गाइडलाइंस
विदेश से आने वाले लोगों को लेकर हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया है। अब विदेश से आने वालों को कोरोना की रिपोर्ट निगेटिव होने के बाद भी 10 दिनों तक क्वारंटीन होना पड़ेगा।-विदेश से आने वाले यात्रियों को 72 घंटे पहले किए गए टेस्ट की RT-PCR रिपोर्ट देना जरूरी होगा।पॉजिटिव पाए जाने वाले यात्रियों को आइसोलेट किया जाएगा । निगेटिव पाए गए यात्री घर जा सकेंगे, पर 7 दिन तक आइसोलेट रहना होगा। ऐसे यात्रियों का 8वें दिन फिर टेस्ट होगा और अगले 7 दिन उन्हें सेल्फ मॉनिटरिंग करनी होगी।
281 बिहारी विदेश से लौटे
विदेशों में काम करने वाले 281 बिहार के लोग वापस लौटे हैं । केंद्र सरकार ने ये सूची बिहार सरकार को सौंपी है । लेकिन खास बात ये है कि सूची के साथ जो नंबर दिया गया है वो सही पता नहीं बता रहे हैं। अब ऐसे में संदिग्धों की तलाश बड़ी चुनौती हो गई है। 281 की सूची में पटना के 30 लोग शामिल हैं । जिसमें 11 लोगों का ही पता चल पाया है।
नालंदा में 2 महीने बाद मिला मरीज
कोरोना की संभावित तीसरी लहर को लेकर स्वास्थ्य विभाग को हाई अलर्ट पर है। करीब 2 महीने बाद नालंदा जिला में एक कोरोना पॉजिटिव केस मिला है। हालांकि नए मरीज को रातों रात ट्रैक कर लिया गया है । बताया जा रहा है कि जो कोरोना पॉजिटिव मिला है वह चार माह पहले लुधियाना से आया था। इसी क्रम में किसी अन्य बीमारी का इलाज कराने के लिए एनएमसीएच गया था। जहां 27 नवम्बर को उसकी जांच की गई जिसकी रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव आई है। हालांकि मरीज द्वारा अपना पता नगरनौसा प्रखंड का दे दिया गया था। लेकिन ट्रैक करने पर पता चला कि उसने जिस गांव का नाम दिया गया था। वह एकंगरसराय प्रखंड में है। ट्रैक करने के बाद मेडिकल टीम जब गांव पहुंची तो पता चला कि मरीज अपना ससुराल चला गया है।